हरिद्वार:(जीशानमालिक) मित्रवत व्यवहार गुरु-शिष्य सम्बन्ध का आधार है। जीवन की सरल तथा जटिल दोनों स्थिति मे गुरु दीक्षा शिष्य को सफलता प्रदान करती है। पूर्ण दक्ष शिष्य इसी दीक्षा से पारंगत एवं निपुणता प्राप्त करता है। शारीरिक शिक्षा एवं खेल विभाग, गुरुकुल कांगड़ी समविश्वविद्यालय के दयानंद स्टेडियम प्रांगण मे गुरु-शिष्य के मध्य मैत्री क्रिकेट मैच खेला गया।
मैच का शुभारम्भ योग एवं शारीरिक शिक्षा संकाय के डीन प्रो0 सुरेन्द्र कुमार द्वारा टास तथा शाॅट लगाकर किया गया। कार्यक्रम की महत्ता बताते हुए प्रो0 सुरेन्द्र कुमार ने कहा कि मैत्रीय संबंध की मजबूती आपसी तालमेल पर निर्भर करती है। मित्रता को प्रगाढ़ एवं मधुर बनाये रखने के लिए इस प्रकार के आयोजन जरूरी है।
शिक्षण संस्थाओं मे यह व्यवहार राष्ट्र निर्माण मे अधिक प्रभावी एवं सशक्त माध्यम है। प्रभारी, शारीरिक शिक्षा डाॅ0 अजय मलिक ने कहा कि बदलते परिवेश मे गुरु-शिष्य के संबंध मे भी बदलाव देखने को मिलते है। एसोसिएट प्रोफेसर डाॅ0 शिवकुमार चौहान ने तनाव समाधान एवं शैक्षिक दबाव कम करने के लिए मैत्रीय संबंधों को बढ़ाने पर बल दिया।
मैत्रीय क्रिकेट मैच मे टास जीतकर शिक्षक टीम ने पहले बल्लेबाजी करने का निर्णय लेते हुए निर्धारित (12)ओवर में ऑल आउट होकर (115) रनों का स्कोर बनाया। जवाब मे विद्यार्थी वर्ग की टीम (12)ओवर मे (6) विकेट पर (110)रन ही बना पाई।
शिक्षक वर्ग की ओर से डाॅ0 अजय मलिक तथा मुनेश की जोडी ने सर्वाधिक (42) रन जोडे। दूसरी ओर विद्यार्थी वर्ग की ओर से सर्वाधिक (45) रन का योगदान गोविन्द का रहा। मैदान को व्यवस्थित, मार्किंग तथा अंपायर की भूमिका मे शिक्षकेत्तर वर्ग ने सहयोग किया।
टीम मे डाॅ0 कपिल मिश्रा, डाॅ0 शिवकुमार चौहान, डाॅ0 अनुज कुमार, डाॅ0 प्रणवीर सिंह, सुनील कुमार, दुष्यंत राणा, सुरेन्द्र सिंह, कुलदीप, मुनेश, राजेन्द्र सिंह, विशाल सम्मिलित रहे।
विद्यार्थी टीम मे विशाल लखेडा, अजीत कुमार, कमल सिंह, हर्षित अरोडा, रवि नेगी, वंश शर्मा, भरत रावत, संतोष थपलियाल, संजय रावत, सुभाष उनियाल, गौतम चौहान, विकास, अभिषेक, धीरज बिष्ट आदि सम्मिलित रहे। स्कोरर की भूमिका रक्षित चौहान ने निभाई। विजेता तथा उपविजेता टीम को रिफ्रेशमेंट तथा पुरस्कार प्रदान किये गये।