उत्तराखंड में आज 80 हजार से ज्यादा विक्रम, ऑटो, बस और ट्रकों के पहिये थमने से परेशानी खड़ी हो गई। ऑटोमेटेड फिटनेस सेंटर की अनिवार्यता और देहरादून, हरिद्वार जिले में दस साल से पुराने विक्रम, ऑटो बंद करने के विरोध में वाहन स्वामियों ने प्रदेशभर में चक्काजाम किया है। इसका खासा असर देहरादून, हरिद्वार, नैनीताल और ऊधमसिंह नगर जिले में देखने को मिला।
विक्रम, ऑटो, सिटी बस यूनियनों की मांगे—
1 ऑटोमेटेड फिटनेस सेंटर पर वाहनों की फिटनेस जांच अनिवार्यता एक अप्रैल 2023 और जून 2024 तय की गई है। इसी हिसाब से उत्तराखंड में भी अनिवार्यता लागू हो। फिलहाल ऑटोमेटेड फिटनेस अनिवार्यता को खत्म किया जाए।
2- एनजीटी के आदेश के तहत दस साल उम्र पूरी करने वाले ऑटो, विक्रम और अन्य डीजल वाहनों को अपडेट किया जाए। इनका संचालन बंद करने का आरटीए देहरादून का फैसला वापस लिया जाए।
3- प्रदेश के हर जिले में कम से कम दो-दो फिटनेस सेंटर खोले जाएं। तब तक पुरानी व्यवस्था को ही बहाल रखा जाए।